दोस्ती
1.खट्टी मिठी है अपनी दोस्ती....
सबसे सस्ती है दोस्त तेरी दोेस्ती....
भगदौड के दौर मे कौन याद करते है....
तु साथ है तो जिन्दा हू.....
यही तो है अपनी दोस्ती......
2.कुछ पुराने पल याद आये....
वो दोस्ती के पल याद आये.....
खुष हो गया मेरे यार...
वो दोस्ती में बेफिकरी के दिन याद आये.....
3.मै खुष हू की साथ तेरा है.....
दुनिया खिलाफ हो मेरे तो क्या?
मेरे दोस्त मेरे हमदम.....
सब झेल जाऊगा जब साथ तेरा है.....
4.दोस्ती में नाम कर जाऊगा...
दोस्त मेरे ऐसा काम कर जाऊगां..
तु कहे ना कहे मेरे यार....
गम मै तेरा अपने नाम कर जाऊगा.....
5.दोस्ती मे मेरा नाम पुराना है...
दोस्ती मे इतिहास मेरा पुराना है...
लडते जगडते ऐसे ही रहे हम...
तु रुठे तो मनाने का अंदाज मेरा पुराना है...
6. दोस्ती अपनी भी खास है....
दोस्तों मे मेरे कई हमराज है....
कल ही किसी ने पुछा मुझसे?
साहब आप ही का नाम पुखराज है....
7.दोस्ती मे एग्रीमेंट हो जाते है...
पहली बार मिले वो भी परमानेंट हो जाते है...
जमाना फेसबुक ट्वीटर का है....
ईमेल से रिस्तों के एडजेस्टमेंट हो जाते है.....
8.स्कूल के दिन याद आते है...
दोस्ती के बाते याद आते हैं....
सब कूछ कितना अच्छा था....
बिते लम्हे देास्ती के याद आते हैं.....
9.दोस्ती भी एक जिन्दगी की कडी है...
ढाई आखर दोस्ती की मैने भी पढी है....
वाकिफ ना था दोस्तो से जब....
वो वक्त आज भी बोरियत सी पडी है....
10.मेरा पहचान मेरे दोस्त है....
मेरे जीवन की षान दोस्त है....
जहां भी रहू लोग कहते हंै दिलदार आया...
मेरे जीवन की आन देास्त है...
1.खट्टी मिठी है अपनी दोस्ती....
सबसे सस्ती है दोस्त तेरी दोेस्ती....
भगदौड के दौर मे कौन याद करते है....
तु साथ है तो जिन्दा हू.....
यही तो है अपनी दोस्ती......
2.कुछ पुराने पल याद आये....
वो दोस्ती के पल याद आये.....
खुष हो गया मेरे यार...
वो दोस्ती में बेफिकरी के दिन याद आये.....
3.मै खुष हू की साथ तेरा है.....
दुनिया खिलाफ हो मेरे तो क्या?
मेरे दोस्त मेरे हमदम.....
सब झेल जाऊगा जब साथ तेरा है.....
4.दोस्ती में नाम कर जाऊगा...
दोस्त मेरे ऐसा काम कर जाऊगां..
तु कहे ना कहे मेरे यार....
गम मै तेरा अपने नाम कर जाऊगा.....
5.दोस्ती मे मेरा नाम पुराना है...
दोस्ती मे इतिहास मेरा पुराना है...
लडते जगडते ऐसे ही रहे हम...
तु रुठे तो मनाने का अंदाज मेरा पुराना है...
6. दोस्ती अपनी भी खास है....
दोस्तों मे मेरे कई हमराज है....
कल ही किसी ने पुछा मुझसे?
साहब आप ही का नाम पुखराज है....
7.दोस्ती मे एग्रीमेंट हो जाते है...
पहली बार मिले वो भी परमानेंट हो जाते है...
जमाना फेसबुक ट्वीटर का है....
ईमेल से रिस्तों के एडजेस्टमेंट हो जाते है.....
8.स्कूल के दिन याद आते है...
दोस्ती के बाते याद आते हैं....
सब कूछ कितना अच्छा था....
बिते लम्हे देास्ती के याद आते हैं.....
9.दोस्ती भी एक जिन्दगी की कडी है...
ढाई आखर दोस्ती की मैने भी पढी है....
वाकिफ ना था दोस्तो से जब....
वो वक्त आज भी बोरियत सी पडी है....
10.मेरा पहचान मेरे दोस्त है....
मेरे जीवन की षान दोस्त है....
जहां भी रहू लोग कहते हंै दिलदार आया...
मेरे जीवन की आन देास्त है...